बीएसएनएल का बड़ा मोबाइल टावर नेटवर्क
सरकारी टेलिकॉम कंपनी BSNL के पास एक बड़ा मोबाइल टावर नेटवर्क है, लेकिन इसके बावजूद कंपनी पिछड़ रही है। BSNL के पास 67,340 मोबाइल टावर हैं, जिनमें से 12,502 टावर को प्राइवेट कंपनियों को किराए पर दिया गया है। BSNL की इस रणनीति से कंपनी को आर्थिक लाभ हुआ, लेकिन वह खुद इस नेटवर्क का सही उपयोग नहीं कर पाई।
प्राइवेट कंपनियों का BSNL के टावर्स का इस्तेमाल
जियो, एयरटेल और वोडाफोन-आइडिया जैसी प्राइवेट कंपनियां BSNL के मोबाइल टावर का उपयोग कर रही हैं। इन कंपनियों ने BSNL के टावर्स का इस्तेमाल करके बेहतरीन सेवाएं दी हैं और खुद मुनाफा कमाया है। वहीं, BSNL तकनीकी अपडेट की धीमी गति और सरकारी प्रक्रियाओं के कारण पीछे रह गई है।
रेवेन्यू बढ़ाने के लिए मोबाइल टावर किराए पर
BSNL ने अपने नुकसान को कम करने के लिए मोबाइल टावर किराए पर देने का निर्णय लिया। वित्त वर्ष 2019-20 में BSNL का घाटा 15,500 करोड़ रुपये था, जो वित्त वर्ष 2023-24 में घटकर 3,371 करोड़ रुपये रह गया। यह उपलब्धि मोबाइल टावर किराए पर देने और अन्य उपायों के कारण संभव हुई।
BSNL ने किसको कितने टावर किराए पर दिए
BSNL ने जियो को सबसे ज्यादा 8,307 टावर किराए पर दिए हैं। इसके अलावा, एयरटेल को 2,761, वोडाफोन को 941 और आइडिया को 129 टावर किराए पर दिए गए हैं। इस तरह BSNL ने अपने टावर्स से अच्छा मुनाफा कमाया है।
प्राइवेट कंपनियों के पास मोबाइल टावर की संख्या
रिलायंस जियो के पास 5.32 लाख 4G LTE नेटवर्क बेस स्टेशन हैं, जो देश की 95% आबादी को कवर करते हैं। BSNL के पास 68,049 मोबाइल टावर हैं, जबकि एयरटेल के पास 42,053 टावर हैं। वोडाफोन के पास 10,235 टावर हैं।
BSNL के 4G टावर्स की संख्या
BSNL ने अब तक देशभर में लगभग 12,000 4G टावर इंस्टॉल किए हैं। सरकार ने 2024 के अंत तक 4G टावर लगाने का लक्ष्य रखा है। इसके अलावा, सरकार का प्लान है कि 4G टावर को 5G में अपग्रेड किया जाए।
BSNL के 4G और 5G प्लान
प्रधानमंत्री मोदी के आत्मनिर्भर भारत योजना के तहत BSNL का 4G नेटवर्क रोलआउट किया जा रहा है। इस साल अक्टूबर तक 80,000 टावर और मार्च 2025 तक 1,00,000 टावर लगाने का लक्ष्य है। इससे BSNL की सेवाओं में सुधार होगा और कंपनी बाजार में प्रतिस्पर्धा कर पाएगी।